उपन्यास - ब्लैकहोल (संपूर्ण)Black Hole - Hindi horror, Novel

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Re: उपन्यास - ब्लैकहोल (संपूर्ण)Black Hole - Hindi horror, N

Unread post by novel » 16 Aug 2015 16:38

Favorite Famous Quotes -

Whatever the mind can conceive and believe, the mind can achieve.

---Dr. Napoleon Hill


...जब स्टेला अपने विचारोंके श्रुंखलासे बाहर निकली तब उसके खयालमें आगया की जाकोब कार ड्राईव्ह कर रहा है और वह उसके बगलके सिटपर बैठी हूई है. वह फिरसे सामने रास्तेपर देखने लगी. जाकोबने एक शरारतभरा कटाक्ष उसकी तरफ डाला.

'' कुछ दिन पहलेही गिब्सन मेरे पास आया था '' जाकोबने कहा.

'' तुम्हारे पास?... वह तुमसे मिला ?'' स्टेलाने सिधे बैठते हूए, उत्सुकतावश पुछा. .

उसने सिर्फ सर हिलाकर 'हां' कहा.

'' किस सिलसिलेमें ?'' उसने पुछा.

लेकिन जाकोबने कोई जवाब नही दिया. मानो उसे कुछ सुनाई दियाही ना हो.

स्टेलाने सोचा की उसे ड्राईव्ह करते हूए पुछताछ करना उचीत नही होगा. इसलिए वह फिरसे सामने रास्तेपर देखने लगी. और देखते हूए फिरसे अपने विचारोंके विश्वमें खो गई ....


.... स्टेला ड्राईंगरुममें बैठी हूई थी और उसके सामने सोफेपर एक पुलिस अधिकारी ब्रॅट बैठा था. ब्रॅट लगभग सैतीसके आसपास, जाडा, उंचाई कम लेकीन पुलिसमें भरती होनेके लिए काफी हो इतनी, ऐसा पुलिस अधिकारी था. स्टेला अबभी शुन्यमें देखते हूए अपने खयालोंमे खोई हूई थी. वह पुलिस अधिकारी ध्यानपुर्वक उसकी हर हरकत निहार रहा था.

'' हां तो आप क्या बोल रही थी ?'' ब्रॅटने अपने नोटबूकमें कुछ महत्वपुर्ण बाते दर्ज की और ग्लाससे पाणीका एक घूंट लेते हूए उसे आगे पुछा.

स्टेलाने अपने खयालोंसे बाहर आते हूए एक ठंडी आह भरी और आगेकी जानकारी बताने लगी, '' वह तो गाडीसे चला गया ... और मै उसके गाडीके पिछे उसे आवाज देती हूई दौडती रही... लेकिन उसने पिछे मुडकर भी नही देखा ... एक बार भी नही ... आज लगभग एक सप्ताह होनेको आया है ... वह तो आयाही नही लेकिन उसका कुछ संदेशा या फोनभी नही आया ...''

ब्रॅट अपने हाथमें थमा पाणीका ग्लास वापस रखनेके सोचमें था, उसने वह ग्लास वैसेही हवामें, अपने हाथमें रखते हूए पुछा, '' तबसे किसीने उसके फोन वैगेरे कुछ किया ?''

'' नही'' स्टेलाने कहा.

ब्रॅटने उसकी तरफ देखते हूए अपने हाथमें थमा पाणीका ग्लास वापस टेबलपर रख दिया. अब वह कमरेंमे रखी एक एक चिज ध्यानसे निहारने लगा. कमरेमें एक दिवारपर लगे एक कॉलेजमें जाती युवतीके फोटोने उसका ध्यान आकर्षीत किया.

'' वह कौन है ?'' ब्रॅटने पुछा.

'' सुझान ... मेरे पतीकी बहन '' स्टेलाने जवाब दिया.

'' वह क्या करती है ?'' ब्रॅटने उस फोटोकी तरफ एकटक देखते हूए पुछा.

'' एम. बी. ए. लास्ट इयर '' स्टेलाने जवाब दिया. .

'' क्या मै उससे बात कर सकता हूं?'' ब्रॅटने अपना माथा खुजाते हूए पुछा.

'' सुझान...'' स्टेलाने अंदर जोरसे आवाज दिया.

'' मतलब... अकेलेमें '' ब्रॅटने बिचमें टोका.

उसके कहनेका मतलब समझकर स्टेला अपने जगहसे उठ गई और भारी कदमोंसे अंदर जाने लगी.

'' दो मिनीट... मै उसे भेजती हू .'' बोलते हूए स्टेला अंदर जाने लगी.

ब्रॅट स्टेलाको धीरे धीरे अंदर जाता हूवा देखने लगा.

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Re: उपन्यास - ब्लैकहोल (संपूर्ण)Black Hole - Hindi horror, N

Unread post by novel » 16 Aug 2015 16:38

Today's quote -

Neither a lofty degree of intelligence nor imagination nor both together go to the making of genius. Love, love, love, that is the soul of genius.

----Wolfgang Amadeus Mozart


ड्रॉईंग रुममें सुझान और पुलिस अधिकारी ब्रॅट आमने सामने बैठे थे.

'' तुम्हे क्या लगता है ?'' अचानक कुछभी संदर्भ ना देते हूए ब्रॅटने सुझानसे सवाल पुछा.

गडबडाकर सुझानने उसकी तरफ देखा.

'' मतलब ... गिब्सन कहां गया होगा ?'' ब्रॅटने और स्पष्ट करते हूए पुछा.

'' नही ... मुझे तो कुछभी अंदाजा नही है ... वैसे देखा जाए तो वह हमेशा बहुत प्रॉम्ट रहता था.... दो तिन घंटेके लिएभी अगर उसे देर होती हो तो वह फोन कर बताता था... '' सुझानने कहा.

'' तुमभी वही बोल रही हो जो तुम्हारे भाभीने कहां '' ब्रॅटने व्यंगात्मक ढंगसे कहा.

'' सच कहूं ... तो ऐसा कभी पहले हूवा ही नही ...'' सुझानने कहा.

'' उसकी किडन्यपींगकी संभावनाके बारेमे तुम्हारा क्या खयाल है ? ब्रॅटने पुछा.

'' उसे कौन किडन्यप कर सकता है ?'' सुझानने मानो खुदसेही सवाल पुछा.

'' कोई उसका शत्रु... कोई दुष्मन...'' ब्रॅटने सुझाया.

'' नही ... मुझे नही लगता... दुष्मन तो छोडो उसे जादा दोस्त भी नही है ... उसका स्वभावही वैसा है ... थोडा शर्मीला थोडा अंतर्मुखी ...'' सुझानने कहा.

ब्रॅट अपना सर खुजाने लगा, शायद कुछ सोच रहा हो.

'' उसका वैवाहीक जिवन कैसा था ?... आय मीन ... वह अपने वैवाहीक जिवनसे खुश था ?'' ब्रट अपनी तहकिकात का रुख अब दुसरी संभावनाकी तरफ ले गया.

'' ऍब्सुलेटली... '' सुझानने एक पलभी ना सोचते हूए जवाब दिया.

'' स्टेलाका दृष्टीकोण उसके बारेमें कैसा है ?'' ब्रॅटने आगे पुछा.

'' अच्छा है ... मतलब वह हमेशा उसके साथ किसी दोस्त की तरह बर्ताव करती है '' सुझानने कहा.

'' स्टेलाके बारेमें कुछ संदेहास्पद? '' ब्रॅटने पुछा.

'' संदेहास्पद? ... यानी आप कही उसपरतो शक नही कर रहे हो?... वह एकदम सरल है ... आप जो उसके बारेंमे शक कर रहे हो वैसा करने का तो छोड दो ... वैसा वह सोचभी नही सकती '' सुझानने एकदम स्पष्टतासे स्टेलाके बारेंमे अपनी राय रखी. .

'' नही, वैसा नही ... मेरा शक थोडा अलग है '' ब्रॅट अपना कहना और स्पष्ट करनेकी कोशीश करने लगा.

'' अलग... मतलब... आप क्या कहना चाहते है ?'' सुझानने आश्चर्य व्यक्त करते हूए कहा.

'' मतलब... मेरा मतलब है ... कुछ एक्स्ट्रामॅरायटल अफेअर ... या वैसाही कुछ...'' ब्रॅटको अपना शक जाहिर करना कठीन जा रहा था. .

'' नही .. नही ... वैसा मुमकीनही नही ..'' सुझानने दृढतासे कहा.

सुझानको ब्रॅटने अपने भाभीके बारेमें ऐसा कहना शायद अच्छा नही लगा था.

'' मुझे माफ करो ऑफीसर ... लेकिन मुझे लगता है आप अपनी मर्यादा लांघ रहे हो ...'' सुझान गुस्सेसे लाल लाल होते हूए बोली.

लेकिन बादमें अपने गुस्सेपर काबू करनेकी कोशीश करते हूए बोली, '' .. मतलब ... मुझे लगता है आप अपनी तफ्तीश गलत दिशामें कर रहे हो ... उसकी तरफ जरा देखो... और सोचो... वह ऐसा कुछ कर सकती है ?''

ब्रॅट अजिब तरहसे मुस्कुराते हूए बोला, '' तुम्हे पता है ... दिखानेके और चबानेके दात हमेशा अलग अलग होते है ''

'' हरा चष्मा पहने आदमीको सब तरफ हरीयालीही नजर आती है '' सुझानभी गुस्सेसे बोल पडी.

'' देखो... मिस ..?'' ब्रॅट मानो उसे उसका नाम याद नही आ रहा है ऐसा अविर्भाव करते हूए बोला.

'' सुझान .. मिस सुझान..'' सुझानने बिचमें टोकते हूए उसे अपना नाम याद दिलाया.

'' हां... मिस सुझान... मै आपकी भावनाएं समझ सकता हूं ... लेकिन मै विवश हूं ... यह मेरे हमेशाकी तफ्तीशका हिस्सा है ...'' ब्रॅटने कहा.

सुझान खिडकीसे बाहर देखते हूए दातोंसे अपने नाखून काटते हूए अपना गुस्सा काबूमें करनेका प्रयास कर रही थी.

'' तुम जरा शांत हो जावो ... जस्ट रिलॅक्स '' ब्रॅटने उसका गुस्सेसे लाल लाल हूवा चेहरा देखकर उसे शांत करनेका प्रयत्न किया.

साथही वह ऐसे नाजुक मौकेपर कुछ महत्वपुर्ण बोल सकती है यह संभावना भी उसके दिमागमें थी.

लेकिन उसके अपेक्षा अनुरुप सुझान कुछ नही बोली.

ब्रॅट जानेके लिए उठ खडा हूवा.

'' ठिक है तो फिर ... मै चलता हूं ... तुम्हे कुछ महत्वपुर्ण, मुझे बताने लायक ... '' ब्रॅटने अंदर दरवाजेके पडदेकी तरफ अर्थपुर्ण नजरसे देखते हूए आगे कहा, '' ... या कुछ छिपानेलायक मिला तो मुझे फोन करना ना भूलीएगा ''

'' हां जरुर '' सुझानभी उठकर खडी होते हूए बोली.

ब्रॅट दरवाजेकी तरफ जाने लगा और जाते हूए अचानक एकदम रुक गया, फिरसे उसने घरके अंदर झांककर देखा. उसने इधर उधर अपनी नजर दौडाई और अंदर दरवाजेका हिला हूवा पडदा उसकी पैनी नजरसे छूट नही सका.

वह फिरसे मुड गया और तेजीसे लंबे लंबे कदम भरते हूए वहांसे चला गया. सुझान उसके साथ उसे बाहरतक छोडने गई.

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Re: उपन्यास - ब्लैकहोल (संपूर्ण)Black Hole - Hindi horror, N

Unread post by novel » 16 Aug 2015 16:39

Thought of the day

You can have everything in life that you want if you just give enough other people what they want.

--- Zig Ziglar


सुझान पुलिस ऑफीसर ब्रॅटको घरके बाहरतक छोडनेके लिए आगई. लेकिन बाहर आनेके बाद वह फिरसे दरवाजेके पास इधर उधर करता रहा. शायद उसे और कुछ बोलना था, इसलिए सुझान वही रुक गई.

इतनेमें घरके गेटके सामने एक बाईक आकर रुक गई. गाडीस्वारने अपनी हेलमेट निकाली. वह सुझानका दोस्त डॅनियल था. दरवाजेमें ब्रॅट और सुझानको देखकर वह वही रुक गया और गाडीपर वैसाही बैठा रहा. ब्रॅटने फिरसे अपनी शकभरी निगाहोसे डॅनियलकी तरफ देखते हूए पुछा,

'' वह कौन है?''

'' मेरा दोस्त .. डॅनियल'' सुझानने जवाब दिया.

ब्रॅटने डॅनियलकी तरफ थोडे अजिब ढंगसे देखते हूए दबे स्वरमें कहा,

'' आय सी... प्यासा बराबर कुंएपर आया लगता है ''

'' क्या ? .. आपने कुछ कहा ?'' सुझानने उसकी अस्पष्ट बडबड सुनते हूए कहा.

'' नही ... कुछ नही '' ब्रॅटने फिरसे सुझानकी तरफ देखते हूए कहा.

फिरसे ब्रॅटने वहांसे जानेके लिए मुडते हूए कहा,

'' स्टेलाका खयाल रखो ... वह एक बडे आघातसे गुजर रही है ... मतलब कमसे कम उपरसे वैसा 'लग रहा है' ...''

ब्रॅटका 'लग रहा है ' इन शब्दोंपर जरुरतसे जादा दबाव दिया हूवा स्वर सुझानको अपशब्दसा लगा.

"''लग रहा है '... मतलब आप क्या कहना चाहते है ?'' सुझानने पलट वार करके पुछा. .

ब्रॅट गेटकी तरफ निकल गया था, वह फिरसे ब्रेक लगे जैसा रुका और अजिब ढंगसे हंसते हूए सुझानकी तरफ पलटते हूए बोला,

'' वह क्या है ना की ... दुनियामें सबसे बडा कलाकार कौन होता है ?... पता है ?'' ब्रॅटने पुछा.

सुझानने संभ्रममें उसकी तरफ प्रश्नार्थक मुद्रामें देखा.

अब यह और क्या बडबडा रहा है ?...

उसे कुछ समझ नही आ रहा था.

वह कुछ कदम गेटकी तरफ चलते हूए फिरसे रुका और और उसकी तरफ मुडते हूए बोला,

'' गुनाहगार... गुनाहगार दुनियामें सबसे बडा कलाकार होता है ..''

वह कुछ बोलनेके पहलेही वह तेजीसे अपने कदम बढाते हूए गेटके बाहरभी पहूंच गया था.

गेटके बाहर जानेके बाद वह फिरसे बाईकपर बैठकर वहीं रुके डॅनियलके पास रुक गया. उसके एकदम पास जाकर उसने उसके कंधेपर थपथपाने जैसा किया और उसकी कॉलर बराबर की.

जो चल रहा था वह डॅनियलके समझ के बाहर था. वह सिर्फ संभ्रममे उसकी तरफ देख रहा था.

अचानक फिरसे मुडकर ब्रॅट तेजीसे कदम बढाते हूए अपनी जिपकी तरफ निकल पडा. डॅनियल अबभी गडबडाए हूए स्थितीमें ब्रॅटको जिपकी तरफ जाता हूवा देख रहा था.


ब्रॅटकी जिप शुरु होगई और तेजीसे वहांसे निकल गई. डॅनियल अपने चेहरेके सामने उडी धुल और धुंएको अपने हाथसे हटानेकी कोशीश करते हूए उस जा रही जिपको देख रहा था.

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