ak sex se bhari shaam - कामुक संध्या - hindi sex story
Posted: 04 Jan 2016 09:46
कामुक संध्या - hindi sex story
मैं संध्या एक जवान खूबसूरत, गोरी, कामुक और मांसल बदन वाली युवती हूँ. मेरी स्टॅट 34-28-38 है. मुझे जो एक बार देखता है मूड के दुबारा देखता ही है चाहे मर्द हो या बुड्ढ़ा या कोई नया जवानी मे उतरा युवक. मुझ अपनी जवानी पर बड़ा नाज़ है और में जानती हूँ जो मेरी कामुक जवानी का रस पिएगा वो धन्य हो जाएगा.
अब आपको मैं अपने बारे मे और बताऊ मैं कॉलेज गोयिंग गर्ल हूँ उमर 21 साल कद 5.6 इंच और बाल लंबे. कॉलेज मे सब लड़के मेरी जवानी पर मरते है और मैं सिर्फ़ अपनी क्लास के एक लड़के राजू पर मारती हूँ यह बात उसे भी पता है और क्लास की मेरी सभी सहेलियों स्वाती, मुस्कान, शालिनी, माटी, अदिति,महिमा, अवन्तिका और रिचा को जो मेरी ही क्लास और साथ की मेट्स है. कोई एक दो साल छ्होटी या बड़ी पर हमारा ग्रूप खूब मस्ती करता है और मज़े लेता है जिंदगी के. हम लड़कियाँ लड़को का काफ़ी मज़ाक उड़ती है और उनसे अपने उपर खर्च भी करवाती है. आख़िर क्यों ना हो वो लड़के हमारी जवानी को लूटने के लिए उतावले जो रहते है. राजू तो मेरी मस्त गोल गोल चुचि च्छुने को जैसे हर वक़्त तय्यार रहता है. यही हाल वो मेरी सहेलियों के साथ भी करता है पर उन्हे पहले अपनी आँखो आँखो से चोद्ना चाहता है शायद वो इंतज़ार मे है कब मैं उसे नीचे पूरी तरह आयुं और वो उसके बाद मेरी सहेलियों पर हाथ डाले.
मैं अपनी एक सहेली स्वाती और अपने बारे मे पहले बतौँगी. मैं कुच्छ दीनो पहले ही स्वाती से मिली थी. स्वाती एक अति आधुनिक विचारों वाली सेक्सी कन्या थी जिसने मेरे भीतर भी फ्री सेक्स की भावना जगाई . आइए आपको स्वाती की जवानी से रूबरू कर्वादुन. गोरा रंग, मलाई सी त्वचा हाथ लगाने से ही मैली हो जाए, गोल मासूम चेहरे पर काले रेशमी बाल, लाल लाल गाल, मोटी मोटी नशीली आँखने, रस से भरे रसीले होंठ जिनको चूसने का सभी का मान करे आएईसी है मेरी सहेली स्वाती. आठेलेटिक्स की दीवानी कहती है की आठेलेटिक्स से शरीर टाइट और फिट रहता है. मैं सब समझती हूँ की शरीर के कौन से हिस्से के बारे मे बात करना चाहती है मेरी सहेली स्वाती. कुल मिला कर स्वाती की जवानी ताना टन और नया फ्रेश माल है पूरे कॉलेज मे. एक बार तो मुझे भी लगा की वो राजू को मेरे चंगुल से ले जाएगी. पर मेरी भी तूफ़ानी और कातिल जवानी का कोई जवाब नही है. कॉलेज का हर लड़का मेरा और स्वाती का समझ लो बराबर ही दीवाना था और मैं राजू पर मरती थी और स्वाती के लिए सभी लड़के बस एक मर्द है जो जब चाहे उसे काम मे लेले. उसका बस चले हो दिन रात सेक्स मे ही डूबी रहे.
स्वाती के चिकने और कामुक जिस्म पर झांट का एक भी बाल नही था और उसकी छूट बिल्कुल कक़ची छूट थी. अभी तक लंड की आशिक़ स्वाती को लॉड बहुत देखने को मिले थे पर वो उन्हे गटक नही पाई थी और जब मेरी उससे दोस्ती बढ़ गयी थी उसने खुद बोला था की संध्या तेरी स्वाती अब तक अनचूडी चूत हैं. अभी तक उसकी चूत सिर्फ़ पानी से सराबोर हो जाती थी , पानी छ्चोड़ देती थी,पर लॉडा नही चूस पाई थी. वो मेरे से काफ़ी घुल मिल गयी मैने भी सोचा की लाओ स्वाती को मस्त जवानी का दर्शन करवा दूं मेरे कहने के अनुसार ही वो कभी कभी स्कर्ट के नीचे पनटी नही पहनती थी और कॉलेज मे आइसे आइसे पैर करके बैठती थी की लड़को को पता चल जाता था की स्वाती बिना पनटी के आई है और वो उसके उस दिन ज़्यादा आसिक़ हो जाते थे. हम लड़कियों के ग्रूप को इस्स बात मे ज़्यादा मज़ा आता था क्योंकि लड़को की पॅंट का तंबू हम लोगो को देखने मे मज़ा आता था. एक बार जब मेरे घर पे कोई नही था तो मैने स्वाती को अपने घर इन्वाइट किया और उससे पुचछा की क्या मेरे घर पे वो अपनी पहली चुदाई का मज़ा लेना चाहेगी तो स्वाती घबरा उठी. मैं भी समझ गयी लड़की नयी नयी जवान हुई है तोड़ा समय लगेगा और फिर जो मस्त चुड़दकड़ बनेगी उसका पूरा मोहल्ला स्वाती की चूत के नशे मे डूबा होगा. मैने उसे अपने घर बुलाया और टीवी पर एक नंगी फिल्म लगा दी सच मानिए आप लोग देसी और विदेशी नंगी फील देख के तो सवती का सर चकरा गया. वो बोली संध्या यह सब क्या सचमुच मे होता है. मैने भी उससे मज़े लेने के लिए बोला- खुल के बोलो स्वाती क्या कहना चाहती हो यहाँ तेरे मेरे सिवा कोई नही है.
स्वाती- साध्या यही जो इस फिल्म मे है लंड चूसना और…
साध्या- और क्या बोल तो ज़रा
स्वाती- हाए रे मुझे शरम आती है
संध्या- (स्वाती के गर्दन मे हाथ डालके) बोल ना मेरी रानी जितना खुल के बोलेगी उतना मस्ती लूटेगी
स्वाती- यह चुदाई और गॅंड मे डलवाना
संध्या- हाँ री स्वाती और मर्द लोग पूरा जिस्म भोगते है औरत का.
मैं संध्या एक जवान खूबसूरत, गोरी, कामुक और मांसल बदन वाली युवती हूँ. मेरी स्टॅट 34-28-38 है. मुझे जो एक बार देखता है मूड के दुबारा देखता ही है चाहे मर्द हो या बुड्ढ़ा या कोई नया जवानी मे उतरा युवक. मुझ अपनी जवानी पर बड़ा नाज़ है और में जानती हूँ जो मेरी कामुक जवानी का रस पिएगा वो धन्य हो जाएगा.
अब आपको मैं अपने बारे मे और बताऊ मैं कॉलेज गोयिंग गर्ल हूँ उमर 21 साल कद 5.6 इंच और बाल लंबे. कॉलेज मे सब लड़के मेरी जवानी पर मरते है और मैं सिर्फ़ अपनी क्लास के एक लड़के राजू पर मारती हूँ यह बात उसे भी पता है और क्लास की मेरी सभी सहेलियों स्वाती, मुस्कान, शालिनी, माटी, अदिति,महिमा, अवन्तिका और रिचा को जो मेरी ही क्लास और साथ की मेट्स है. कोई एक दो साल छ्होटी या बड़ी पर हमारा ग्रूप खूब मस्ती करता है और मज़े लेता है जिंदगी के. हम लड़कियाँ लड़को का काफ़ी मज़ाक उड़ती है और उनसे अपने उपर खर्च भी करवाती है. आख़िर क्यों ना हो वो लड़के हमारी जवानी को लूटने के लिए उतावले जो रहते है. राजू तो मेरी मस्त गोल गोल चुचि च्छुने को जैसे हर वक़्त तय्यार रहता है. यही हाल वो मेरी सहेलियों के साथ भी करता है पर उन्हे पहले अपनी आँखो आँखो से चोद्ना चाहता है शायद वो इंतज़ार मे है कब मैं उसे नीचे पूरी तरह आयुं और वो उसके बाद मेरी सहेलियों पर हाथ डाले.
मैं अपनी एक सहेली स्वाती और अपने बारे मे पहले बतौँगी. मैं कुच्छ दीनो पहले ही स्वाती से मिली थी. स्वाती एक अति आधुनिक विचारों वाली सेक्सी कन्या थी जिसने मेरे भीतर भी फ्री सेक्स की भावना जगाई . आइए आपको स्वाती की जवानी से रूबरू कर्वादुन. गोरा रंग, मलाई सी त्वचा हाथ लगाने से ही मैली हो जाए, गोल मासूम चेहरे पर काले रेशमी बाल, लाल लाल गाल, मोटी मोटी नशीली आँखने, रस से भरे रसीले होंठ जिनको चूसने का सभी का मान करे आएईसी है मेरी सहेली स्वाती. आठेलेटिक्स की दीवानी कहती है की आठेलेटिक्स से शरीर टाइट और फिट रहता है. मैं सब समझती हूँ की शरीर के कौन से हिस्से के बारे मे बात करना चाहती है मेरी सहेली स्वाती. कुल मिला कर स्वाती की जवानी ताना टन और नया फ्रेश माल है पूरे कॉलेज मे. एक बार तो मुझे भी लगा की वो राजू को मेरे चंगुल से ले जाएगी. पर मेरी भी तूफ़ानी और कातिल जवानी का कोई जवाब नही है. कॉलेज का हर लड़का मेरा और स्वाती का समझ लो बराबर ही दीवाना था और मैं राजू पर मरती थी और स्वाती के लिए सभी लड़के बस एक मर्द है जो जब चाहे उसे काम मे लेले. उसका बस चले हो दिन रात सेक्स मे ही डूबी रहे.
स्वाती के चिकने और कामुक जिस्म पर झांट का एक भी बाल नही था और उसकी छूट बिल्कुल कक़ची छूट थी. अभी तक लंड की आशिक़ स्वाती को लॉड बहुत देखने को मिले थे पर वो उन्हे गटक नही पाई थी और जब मेरी उससे दोस्ती बढ़ गयी थी उसने खुद बोला था की संध्या तेरी स्वाती अब तक अनचूडी चूत हैं. अभी तक उसकी चूत सिर्फ़ पानी से सराबोर हो जाती थी , पानी छ्चोड़ देती थी,पर लॉडा नही चूस पाई थी. वो मेरे से काफ़ी घुल मिल गयी मैने भी सोचा की लाओ स्वाती को मस्त जवानी का दर्शन करवा दूं मेरे कहने के अनुसार ही वो कभी कभी स्कर्ट के नीचे पनटी नही पहनती थी और कॉलेज मे आइसे आइसे पैर करके बैठती थी की लड़को को पता चल जाता था की स्वाती बिना पनटी के आई है और वो उसके उस दिन ज़्यादा आसिक़ हो जाते थे. हम लड़कियों के ग्रूप को इस्स बात मे ज़्यादा मज़ा आता था क्योंकि लड़को की पॅंट का तंबू हम लोगो को देखने मे मज़ा आता था. एक बार जब मेरे घर पे कोई नही था तो मैने स्वाती को अपने घर इन्वाइट किया और उससे पुचछा की क्या मेरे घर पे वो अपनी पहली चुदाई का मज़ा लेना चाहेगी तो स्वाती घबरा उठी. मैं भी समझ गयी लड़की नयी नयी जवान हुई है तोड़ा समय लगेगा और फिर जो मस्त चुड़दकड़ बनेगी उसका पूरा मोहल्ला स्वाती की चूत के नशे मे डूबा होगा. मैने उसे अपने घर बुलाया और टीवी पर एक नंगी फिल्म लगा दी सच मानिए आप लोग देसी और विदेशी नंगी फील देख के तो सवती का सर चकरा गया. वो बोली संध्या यह सब क्या सचमुच मे होता है. मैने भी उससे मज़े लेने के लिए बोला- खुल के बोलो स्वाती क्या कहना चाहती हो यहाँ तेरे मेरे सिवा कोई नही है.
स्वाती- साध्या यही जो इस फिल्म मे है लंड चूसना और…
साध्या- और क्या बोल तो ज़रा
स्वाती- हाए रे मुझे शरम आती है
संध्या- (स्वाती के गर्दन मे हाथ डालके) बोल ना मेरी रानी जितना खुल के बोलेगी उतना मस्ती लूटेगी
स्वाती- यह चुदाई और गॅंड मे डलवाना
संध्या- हाँ री स्वाती और मर्द लोग पूरा जिस्म भोगते है औरत का.