राज और उसकी विधवा भाभी compleet

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rajaarkey
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Re: राज और उसकी विधवा भाभी

Unread post by rajaarkey » 01 Nov 2014 22:58


भाभी मेरा लंड सहलाने लगी. थोड़ी देर बाद वो बोली, आज तो वो हो
गया जो की नहीं होना चाहिए था. मैने कहा, मैने ऐसा क्या कर
दिया. वो बोली, तूने मुझे अपना लंड दिखा कर आज मुझे पागल सा कर
दिया. मैने कहा, मैने तो नहीं दिखाया था. वो बोली, तेरा नेकर ही
इतना छ्होटा और ढीला था कि मुझे तेरा लंड दिखाई दे गया. मैं
अपने आप को काबू में नहीं रख पाई इसी लिए मैने तुझसे पैर की
दोबारा मालिश करने के लिया कहा था. मैं तेरा लंड देखना चाहती थी
क्यों कि मुझे तेरा लंड बहुत ही लंबा और मोटा दिख रहा था. मैने
कहा, अब तो देख लिया ना. वो बोली, हाँ, देख भी लिया और पसंद भी
कर लिया. मैने कहा, अब क्या इरादा है. वो बोली, तू भी वही कर जो
तेरे भैया मेरे साथ करते थे. मैने कहा, ये ठीक नहीं है. वो
बोली, क्या ठीक है क्या नहीं, मैं कुच्छ नहीं जानती. अगर तू मेरे
साथ नहीं करेगा तो मैं मर जाउन्गि. मैने पुछा, मैं तुम्हारे
साथ क्या करूँ. वो बोली, जो तेरे भैया मेरे साथ करते थे. मैने
कहा, मैने तो कभी देखा ही नहीं कि भैया तुम्हारे साथ क्या करते
थे. भाभी ने मेरे गालों को ज़ोर से काट लिया और बोली, अब चोद दे
मुझे. मैने कहा, दर्द होगा. वो बोली, तो मैं क्या करूँ, होने दे. जो
होगा देखा जाएगा. मैने कहा, तुम मेरी भाभी हो, मैं तुम्हें कैसे
चोद सकता हूँ. भाभी का तो जोश के मारे बुरा हाल था. वो बोली, तू
मुझे नहीं चोदेगा लेकिन मैं तो तुझे चोद सकती हूँ. मैने कहा,
फिर तुम ही चोदो. क्रमशः...........



rajaarkey
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Re: राज और उसकी विधवा भाभी

Unread post by rajaarkey » 01 Nov 2014 22:59

गतान्क से आगे..........
मेरा लंड फिर से खड़ा हो चुका था. भाभी मेरे उपर आ गयी. उन्होने
मेरे लंड के सूपदे को अपनी चूत के बीच रखा और दबाने लगी. उनके
चेहरे पर दर्द की झलक साफ दिख रही थी फिर भी वो रुकी नहीं.
मेरा लंड धीरे धीरे उनकी चूत में घुसता ही जा रहा था. उनकी
चूत बहुत ही टाइट थी. उन्होने दबाना जारी रखा तो थोड़ी ही देर में
उनकी आँखों में आँसू भी आ गये. मैने पुचछा, क्या हुआ. वो बोली,
दर्द बहुत हो रहा है. मैने कहा, फिर रुक जाओ ना, क्यों इतना दर्द
बर्दास्त कर रही हो. वो बोली, मैं पागल हो गयी हूँ. अब तक मेरा
लंड भाभी की चूत में 7" तक घुस चुका था. दर्द के मारे भाभी का
बुरा हाल हो रहा था. तभी वो अपने बदन का सारा ज़ोर देते हुए
अचानक मेरे लंड पर बैठ गयी. मेरा पूरा का पूरा लंड उनकी चूत
में समा गया. उनके मूह से ज़ोर की चीख निकली. उनका सारा बदन थर
थर काँपने लगा. उनके चेहरे पर पसीना आ गया. उनकी साँसें बहुत
तेज चल रही थी.

वो मेरे उपर लेट गयी और मेरे होठों को चूमने लगी. मैं उनकी कमर
और चूतड़ को सहलाने लगा. तभी मुझे बदमाशी सूझी. मैने उनकी
गांद के छेद पर अपनी उंगली फिरानी शुरू कर दी तो उन्हें मज़ा आने
लगा. अचानक मैने अपनी उंगली उनकी गांद में डाल दी तो उन्होने ज़ोर की
सिसकारी ली और बोली, बदमाश कहीं का. पहले तो कह रहा था कि तुम
मेरी भाभी हो, मैं तुम्हें कैसे चोद सकता हूँ. अब मेरी गांद में
उंगली डाल रहा है. क्या मैं अब तेरी भाभी नहीं रह गयी. मैने
कहा, बिल्कुल नहीं, अब तो तुमने मेरा लंड तुमने अपनी चूत में डाल
लिया है. अब तुम मेरी भाभी नहीं रह गयी हो. वो बोली, फिर मैं अब
तेरी क्या लगती हूँ. मैने कहा, बीवी. वो बोली, फिर चोद दे ना अपनी
बीवी को. क्यों तरसा रहा है मुझे. अब तो मैने तेरा पूरा का पूरा
लंड अपनी चूत के अंदर ले लिया है. मेरी उंगली अभी भी भाभी की
गांद में थी. मैने फिर शरारत की और कहा, मैं तुम्हें एक ही
शर्त पर चोद सकता हूं. वो बोली, कैसी शर्त. मैने कहा, मैं
तुम्हारी गांद भी मारूँगा. वो बोली, अपनी बीवी से भी पुच्छना पड़ता है
क्या. मैने कहा, मुझे नहीं मालूम. वो बोली, तेरे भैया ने तो मुझसे
कभी नहीं पुछा, जब भी उनका मन किया उन्होने मेरी चुदाई की और
जब उनका मन हुआ तो उन्होने मेरी गांद भी मारी. मैने कहा, इसका
मतलब तुम भैया से गांद भी मरवा चुकी हो. वो बोली, तो क्या हुआ,
मज़ा तो दोनो में ही आता है. अब मुझे ज़्यादा मत परेशान कर, चोद दे
ना. मैने कहा, थोड़ा सा तुम चोदो फिर थोडा सा मैं चोदुन्गा. वो
बोली, ठीक है, बाबा.

भाभी ने धीरे धीरे धक्के लगाने शुरू कर दिए तो उनके मूह से
चीख निकलने लगी. मैने पुछा, अब क्या हुआ. वो बोली, दर्द हो रहा
है. मैने पुछा, क्यों, अब तो पूरा अंदर ले चुकी हो. वो बोली, अंदर
लेने से क्या होता है. मेरी चूत अभी तेरे लंड के साइज़ की थोड़े ही
हुई है. मैने पुछा, मेरे लंड की साइज़ की कैसे होगी. वो बोली, जब
तू मुझे काई बार चोद देगा तब. वो धीरे धीरे धक्के लगाती रही.
मैने पुछा, तुम्हारी चूत को चौड़ा करने के लिए मुझे कितनी बार
चोदना पड़ेगा. वो बोली, ये तो तेरे उपर है की तू किस तरह से मेरी
चुदाई करता है. मैने पुछा, क्या एक बार में भी हो सकता है. वो
बोली, बिल्कुल हो सकता है, अगर तू मुझे पहली बार में ही कम से कम
1 घंटे चोद सके तो. लेकिन मैं जानती हूँ कि तू ऐसा नहीं कर
पाएगा. मैने पुछा, क्यों. वो बोली, तूने कभी किसी को पहले चोदा
है. मैने कहा, नहीं. वो बोली, तो फिर तू 10 मिनट से ज़्यादा रुकेगा ही
नहीं. मैने कहा, रुकुंगा क्यों नहीं. वो बोली, तुझे मेरी चुदाई
करने में जोश ज़्यादा आ जाएगा इस लिए.

rajaarkey
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Re: राज और उसकी विधवा भाभी

Unread post by rajaarkey » 01 Nov 2014 22:59



भाभी को धक्के लगाते हुए लगभग 10 मिनट हो चुके थे और वो इस
दौरान 1 बार झाड़ भी चुकी थी. तभी मेरे लंड का जूस निकल पड़ा
और साथ ही साथ वो भी फिर से झाड़ गयी. वो मुस्कुराते हुए बोली,
क्या हुआ पहलवान. मैने कहा, वही हुआ जो तुम कह रही थी. वो बोली,
मेरी चूत ढीली करने के लिए तुझे कम से कम 1 घंटे तक मेरी
चुदाई करनी पड़ेगी. मैं ये भी जानती हूँ कि अगली बार तू ज़्यादा से
ज़्यादा 15 मिनट ही मुझे चोद पाएगा. इस तरह जब तू 3-4 बार मेरी
चुदाई कर देगा तब कुल मिलाकर 1 घंटे हो जाएँगे और मेरी चूत
ढीली हो जाएगी और तेरे लंड के साइज़ की हो जाएगी, समझ गये
बच्चू. मैने कहा, बिल्कुल समझ गया, मेडम.

भाभी ने मेरे लंड को अपनी चूत के अंदर ही रखा और मेरे उपर लेट
गयी. वो मेरे होठों को चूमती रही और मैं उनकी चुचियों को
मसलता रहा. 10 मिनट के बाद मेरा लंड उनकी चूत में ही फिर से खड़ा
होने लगा तो वो बोली, अब तुम मुझे चोदो. मैने कहा, जैसी आप की
मर्ज़ी. वो मुस्कुराते हुए मेरे उपर से हट गयी और लेट गयी. मैं उनके
उपर आ गया. मैने उनकी चुदाई शुरू कर दी. मैं पूरे जोश में
था और ज़ोर ज़ोर के धक्के लगाते हुए उनको चोद रहा था. वो बोली,
शाबाश बहादुर, बहुत ही अच्छि तरह से चोद रहे हो, चोद्ते रहो,
रुकना मत, थोडा और ज़ोर के धक्के लगाओ. मैने और ज़्यादा तेज़ी के
साथ धक्के लगाने शुरू कर दिए. लगभग 15 मिनट की चुदाई के बाद
मैं झाड़ गया. भाभी भी इस चुदाई के दौरान 2 बार झाड़ चुकी थी.
मैने उन्हें सारी रात खूब जम कर चोदा. वो भी पूरी तरह से
मस्त हो गयी थी और मैं भी. सुबह तक मैं उन्हें 6 बार चोद चुका
था. सुबह को मैने पुछा, तुम्हारी चूत मेरे लंड की साइज़ की हो गयी
या नहीं. वो बोली, जब तुमने मेरी 4 बार चुदाई कर दी फिर उसके बाद
मैं चिल्लाई क्या. मैने कहा, बिल्कुल नहीं. वो बोली, फिर समझ लो
की मेरी चूत तुम्हारे लंड की साइज़ की हो गयी.

थोड़ी देर बाद वो बोली, मैं एक बात तुमसे कहना चाहती हूँ. मैने
पुछा, अब क्या है. वो बोली, मुझे तो तुम्हारा लंड बहुत पसंद आ
गया है. अगर तुम्हें मेरी चूत भी पसंद आ गयी हो तो तुम मुझसे
शादी कर लो. मैं तुमसे 1 साल छ्होटी भी हूँ और जवान भी. मैं
तुम्हें पूरा मज़ा दूँगी और एक दम खुश रखूँगी. अगर तुम मुझसे
शादी नहीं करोगे तो मैं तो तुम्हारी रखैल बन कर रह जाउन्गि. जब
तुम्हारी शादी हो जाएगी तो मुझे कौन चोदेगा. भाभी खूबसूरत थी
ही. मैं उन्हें बहुत प्यार भी करता था और वो भी मुझसे बहुत प्यार
करती थी. उनकी बात सही भी थी क्यों कि मुहल्ले के लोग बाद में
उन्हें मेरी रखैल ही कहते. मैने मज़ाक किया, अगर तुम मुझसे शादी
करना चाहती हो तुम्हें एक काम करना पड़ेगा. वो बोली, मैं सब कुच्छ
करने के लिए तय्यार हूँ. मैने कहा, तुमने उस पागल को देखा है ना
जो हमारे मुहल्ले में घूमता रहता है. वो बोली, हां देखा है.
मैने कहा, तुमने उसका लंड भी देखा होगा. वो बोली, देखा है. मैने
पुछा, उसका लंड कैसा है. वो बोली, उसका तो तुमसे भी ज़्यादा लंबा
और मोटा लगता है. मैने कहा, मैं उसे एक दिन घर ले आता हूँ, तुम
उस से चुदवा लो. वो बोली, ठीक है, ले आना. मैं तुमसे शादी करने
के लिए कुच्छ भी कर सकती हूँ. मैं उस पागल से भी चुदवा लूँगी.

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