मैं तेरा आशिक़

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rajaarkey
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Re: मैं तेरा आशिक़

Unread post by rajaarkey » 25 Dec 2014 09:04

राज उठा और उसने अपनी पूरी पॅंट उतारी और उसके ब्रा को उखाड़ फैंका और उसे ज़ोर ज़ोर से मसल्ने लगा ऐसा करने में उसे बहुत मज़ा आ रहा था डॉली की चुचि को दबाते दबाते उस के निपल्स टाइट हो गये और उसकी चुचि पूरी लाल थी इसको देखकर राज सिसकारियाँ भरने लगा आआआअहह मेरी जान मेरी मलाई क्या नूर हो तुम काश तुम मुझे पहले मिली होती तो शायद उसी वक़्त तुमसे शादी कर लेता आहह आहह

राज के झटके तेज़ हो चुके थे राज ने झट से डॉली को पेट के बल लिटाया और उसकी गांद में लंड डाला और उसे कुतिया की तरह बुरी तरह चोदने लगा और बड़बड़ाने लगा पता है डॉली आज सोने का दिल नही है मुझे भी अब तरस आ रहा है उस बिचारे रिपोर्टर पर बिचारा अब तक तो उसकी लाश गल चुकी होगी राज ने तेज़ झटके किए और उसकी गांद पर तेज़ तेज़ थप्पड़ मारने लगा उसे ज़ोर से दबाता फिर ज़ोर से दबोचता ऐसा करते करते उसने उसे अब अपनी तरफ लिटाया और उसके उपर चढ़कर उसकी दोनो टाँगो को उपर उठाया और उसकी चिकनी चूत में अपना लंड डाल के चोदने लगा उसकी चीखें ज़ोर ज़ोर से निकलने लगी डॉली रो रही थी उसको अब भी सुभास की चीखें सुनाई दे रही थी शायद आज वो उसी की वजह से मौत के मुँह में चला गया राज ने लंड को बाहर खिंचा और उसपे थूक डालकर उसे फिर अंदर डाल दिया और उसे अंदर बाहर करने लगा चूत बिल्कुल गीली हो चुकी थी जिससे वो काफ़ी अंदर बाहर हुए जा रही थी डॉली सिसकारिया ले रही थी शायद मज़े में वो सब कुछ भूल चुकी थी

राज डॉली के उपर आ गया और उससे चिपककर उसे चोदने लगा डॉली को चोद्ते वक़्त राज का चेहरा पूरा लाल हो चुका था राज ने कहा पता है इसी वजह से मैं तुम्हे इतना पसंद करता हू मेरी डॉली तुम्हारे हरेक जिस्म के अंग पर मेरा हक़ है ये सब मेरा है कहो मुझसे कहो मुझसे तुम ये बात खुद कहो

डॉली ने डरते हुए कहा हां मैं मैं तुम्हारी हू मैं इस दुनिया में सिर्फ़ तुम्हारे लिए पैदा हुई हू तुम मेरा प्यार हो तुम्हारे बगैर मैं किसी और के बारे में सोच भी नही सकती मेरे जिस्म पर तुम्हारा ही हक़ है सिर्फ़ तुम्हारा आआआहह इट हर्ट्स आआआअहह

राज डॉली को यू तड़प्ते देख पागल सा हो गया और अपने होंठ उसके होंठो से जोड़ दिए और दोनो की ज़ुबान एक दूसरे से टकराई और चूत की हॅप ठप की आवाज़ो ने सेक्स में आग भड़का दी थी राज उसे ज़ोर ज़ोर से चोद रहा था राज पसीने पसीने होकर उससे लिपट गया डॉली का बदन बिल्कुल पतला था उसकी बाज़ू राज की बाज़ू पर मानो एक बच्चा एक पहलवान की गोदी में हो ऐसा लग रहा था राज उसे कस्के पकड़कर उसको अपने जिस्म से गर्मी दे रहा था डॉली की आँखें बंद थी बस वोई चीख उसके कान में आ रही थी जिसे सुन उसकी आँखो ने आँसू छोड़ दिए राज की शकल एकदम लाल हो गयी उसने साँस को रोका और सारा माल उसकी चूत से निकालकर बाहर झाड़ने लगा उसके संगमरमर के जिस्म पर एक एक बूँद उसने रगद्कर डाल दी डॉली सो चुकी थी राज उसके जिस्म को अपने जिस्म से चिपककर सो चुका था आइ लव यू डॉली आइ लव यू तुमने मुझे भरोसा दिला दिया है आआआआआहह

डॉली को अब भी नींद नही आ रही थी और वो चुप चाप राज से लिपटी अपने आप पर रो रही थी

हेलो डॉली हेलो डॉली चलो उठो सुबह हो गयी है मेरी जान डॉली डॉली …….. डॉली ने आँखे खोली सामने प्यार से देख रहे राज के चेहरे पर उसकी नज़र गयी

डॉली की ख़ौफ़ से भरी आँखें खुल सी गयी और कहा क्या क्या हुआ?

राज – अरे डॉली यू ऑलराइट पता है शायद बुरा सपना देखा होगा क्यू नही बुरा सपना नही शायद हम दोनो का प्यारा मिलन याद कर रही हो अरे सपने देखना छोड़ो मैं हू ना तुम्हे प्यार करने के लिए

डॉली – देखो मैं पहले से ही डिप्रेस्ड हू मुझे घर जाना है मा की याद आ रही है

राज ने कहा फिर वोई बात कि मा की याद आ रही है अरे मेरी प्यारी मैने तुमसे क्या कहाँ था कि तुम अपनी मा के पास जा सकती हो पर अभी बहुत टाइम है तुम मैं अभी देखो ना हवा के साए की तरह दिन भी तो कितने रह गये है अपने पास बस तुम और मैं और ये खेल शुरू हाहहहहहा

rajaarkey
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Re: मैं तेरा आशिक़

Unread post by rajaarkey » 25 Dec 2014 09:04

डॉली उसको देख रही थी और नाकामयाबी उसके चेहरे पर सॉफ झलक रही थी वो जानती थी कि राज एक पागल दीवाने के साथ एक खूनी भी है अब तो शायद उसे अपने आपको किसी तरीके से उससे खुद को बचाना ही बेहतर समझा

डॉली डॉली कहाँ खो गयी ?

डॉली ने हिलते हुए कहा हां हा हां कह कहो

राज – चलो लेट हो रहे है

राज का फोन बजा राज ने फोन उठाया और कहा हेलो

अच्छा अच्छा ऐसा क्या चलो ठीक है

राज ने फोन काटते हुए कहा मादर्चोद हैं सब

डॉली ने राज को सवालो भर्राई नज़रो से देखा क्या हुआ राज ? राज ने कहा कुछ नही लगता है किसी चूतिए ने उस क्या नाम था उस हरामी का हां सुभास शर्मा उसकी डेड बॉडी उनके हाथ लग गयी है मैं पोलिसेवाला हू और मेरा फ़र्ज़ बनता है उसके खून की तफ़तीश करना डॉली ने कहा तुमने उसे मार डाला अब तुम क्या करोगे

राज ने कहा सस्स्स्स्स्स्शह किसने किसको मारा उसे उसने खुद को फ़सा लिया अरे मैने तो उसे उसके हाल पर छोड़ दिया था तुम्हे उसने रंडी समझकर बहुत बड़ी ग़लती थी जानता नही था वो कि जिसे वो रंडी समझने की भूल कर रहा है उसका भी कोई मर्द है और वो एक वेश्या नही बल्कि मेरी अपनी है समझी तुम तुमने उसे मरवा दिया

डॉली फिर रोने लगी और कहा ऐसा नही है प्लीज़ मुझे डर लग रहा है

राज ने कहा देखो मैं इस वक़्त जा रहा हू क्या तुम पर भरोसा करू कि कल रात की तरह नही भागोगी भरोसा करू बोलो मुझे ?

डॉली ने रोते हुए कहा हां कर कर सकते हो

राज – तो ठीक है यहीं डील रहीं देखो मैं तुम्हे नुकसान नही पहुचाउन्गा एक अच्छी बीवी की तरह घर की सॉफ सफाई खाना बना के रखना शाम तक तो क्या तुम्हारे लिए तो मैं दोपहर तक आ जाउन्गा और फिर से भागने की ग़लती मत करना वरना तुम जानती हो मेरा मतलब क्या है ?????

डॉली ने सिर्फ़ सर हिलाया राज ने डॉली के होंठो पर एक चुम्मा लिया और कहा मैं चलता हू तुम आराम करो

राज के जाने के बाद डॉली तुरंत पलंग से उठ ली और तुरंत दरवाजे से उतरकर धीरे धीरे कदमो से नीचे उतरी अभी डॉली दरवाजे के पास पहुचि और दरवाजा खोलने की कोशिश की दरवाजा बंद था

डॉली ने खिड़की से बाहर दरवाजे पर झाँका जहाँ एक मोटा ताला लगा था डॉली उमीद हारते हुए घुटनो पर बैठ गयी



डॉली ने इधर उधर झाँका और सीधे खिड़की की तरफ डॉली ने देखा वहाँ पर नीचे लगे ताले को देखा जो कि शीशे से सॉफ नज़र आ रहा था डॉली अब बिल्कुल टूट चुकी थी उसे पता था कि राज उसे घर से भागने नही देगा

डॉली को तभी अपना फोन याद आया डॉली तुरंत कवर्ड के पास गयी और एक एक दराज़ को खोलने लगी कुछ दराज़े बंद थी बाकी दो ही खुली हुई थी जिसमे डॉली ने काफ़ी ढूँढा पर मोबाइल का कोई निशान ही नही था

डॉली – अब क्या करूँ ना मोबाइल है और ना ही बाहर जाने का कोई रास्ता मैं पूरी तरीके से हिम्मत हार गयी हू मैं इस पागल खूनी के साथ और नही रह पाउन्गि आज नही तो कल ये मुझे भी मार डालेगा

डॉली ने एक नज़र अपनी घड़ी पर दौड़ाई जिसमे 12 बज रहे थे डॉली ने इधर उधर देखा पर डॉली को कुछ सूझ नही रहा था एक मज़बूर औरत सी दिख रही थी डॉली डॉली ने कहा कम से कम मेरे पास कोई तो रास्ता है हे भगवान मुझे यहाँ से निकाल ये किस मुसीबत में तुमने मुझे फसा दिया मुझे डर लग रहा है

उधर लकड़ी के घर के बाहर खड़े थे कुछ पोलिसेवाले और और कुछ स्नेक्स ट्रेनर

एक हवलदार राज के पास आया – सर ?........राज ने अपना सिगरेट जलाते हुए कहा क्या खबर है ??? ………सर खबर बहुत बुरी है ये शॅक्स आज तक का न्यूज़ रिपोर्टर सुभास शर्मा था हमने छानबीन की उसके चेहरे के कुछ ही हिस्सो से पता चल पाया सर ऐसा केस तो कभी हॅंडल नही किया ………..राज – अबे बकवास बंद कर और बता मौत कैसे हुई ??........हलवदार – सर बहुत सारे सापो के बीच में इसकी बॉडी थी साँप ने हर जगह काटा हुआ है और सर उसका शरीर पूरा गल गया ये साँप कोई मामूली साँप नही थे सर ये ज़हरीली साँप थे इनका ज़हेर किसी तेज़ाब से भी घातक है ……….राज ने गौर करते हुए कहा ह्म्‍म्म और ये खबर पोलीस तक पहुचाई किसने ?? हवलदार – सर हमारे ही कुछ लोग यहाँ से गुज़र रहे थे उन्हे ये ब्लॅक कलर की कार यहाँ वीराने से घर के बाहर खड़ी मिली उन्हे फ़ौरन लगा कि ऐसी सुनसान जगह में कौन रह सकता है सर जब अंदर पहुचे तो साँप ही साँप सर दो पोलिसेवाले तो उनके काटने से बच गये पर हमने एक एक करके सारे सापों को किसी तरह से इकट्ठा किया ? पर सर गौर फरमाने वाली बात तो यहीं है कि इतनी रात गये ये सुभास शर्मा इस वीरान से घर में क्या कर रहा था और ये तो कोई आम बात नही है सर कि ये खून सिर्फ़ एक हादसा साँप के काटने से सर यहाँ इस जंगल में दूर दूर तक कोई भी ऐसा साँप नही है शायद ये किसी की साज़िश है राज ने घूरते हुए कहा तुम्हे क्या लगता है इसे किसी ने जान से मारा है ? तो फिर कमर कस लो खूनी को पकड़ने की हवलदार – अरे सर आइए मैं आपको अंदर लेके चलता हू ……..कुछ मिनिट बाद वो दोनो घर में दाखिल हुए हवलदार – ये देखिए सर यहाँ का काँच पूरी तरीके से टूटा हुया है और मेज़ भी…….राज ने सोचते हुए कहा हो भी क्यू ना हाथापाई जो हुई है……हवलदार – सर आप तो बिल्कुल सही कह रहे है अंदर चलिए सर ऐसा लगता है कि यहाँ पर फर्श पर कितना खून है और ये खून सब का सब सुभास का ही है हमने सुभास की कार को कुछ दूर सड़क से बरामद किया उस की कार का आक्सिडेंट हुआ था और सर यहाँ लाके उसे मारा गया था सर बचिए…………..राज ने अपना जूता साँप के सर से बचाते हुए उठाया………हवलदार – सर लाख लाख बचे ये मादर्चोद ये वाला साँप तुम्हारा बाप उठाएगा तफ़तीश बाद में कर लेना पहले ये सारे ज़हरीले साँप हटाओ और हां इन्हे अच्छे तरीके से उठाना


rajaarkey
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Re: मैं तेरा आशिक़

Unread post by rajaarkey » 25 Dec 2014 09:05

राज ने सामने देखा जहाँ पर लाश पर कपड़ा था राज ने बैठते हुए उस सफेद चद्दर को हटाया – ओह माइ गोद इसका क्या हशर कर दिया ये तो रिपोर्टर कम और तेज़ाब में नाहया हुया इंसान लग रहा है……….हवलदार ने कहा सर इसके तो हड्डियो से ज़्यादा साँप ने इसके लंड पर काटा है डॉक्टर ने बताया है सर ये देखिए लंड का उपरी हिस्सा गल गया है और खाल निकल के सिर्फ़ एक गाँव ही दिख रहा है कोई कैसे इतनी बेरेहमी से मार सकता है राज ने कहा मार सकता है ………..हवलदार ने कहा चौुक्ते हुए क्या सर मार सकता ? सर इतना बेरहम

राज ना ना बेरहम नही बल्कि होशियार उसे कुछ करने की ज़रूरत ही नही पड़ी सारा काम तो उसके साँप दोस्तो कर डाला अच्छा अब क्या यहाँ लाश का मुँह ही देखोंगे या इसे फोरेन्सिक लॅब पहुचने की तयारि भी करोगे………….

हवलदार – सर अभी लीजिए लेकिन सर ये बात अगर न्यूज़ में छाप गयी तो लेने के देने पड़ेंगे सर रिपोर्टर मरा वो भी ऐसा वैसा नही मेन रिपोर्टर सर न्यूज़ वाले तो खाल नोच लेंगे…………

राज – मारो गोली उनकी चूत में जितना कहा उतना करो और हां कोई सबूत मिला…………….हवलदार – अरे हां सर काफ़ी सबूत मिले है ये देखिए सफेद शर्ट किसी की लगती है और वहाँ देखिए सर एक मीट चाकू पड़ा हुआ है सर ये कोई सोची समझी नही बल्कि अटेंप्ट तो मर्डर केस है सर

मर्डर केस राज की आँखें फॅट चुकी थी उसे सब कुछ वापिस दिखने लगा

राज – देखो शायद ये खूनी का ही होगा जाओ फोरेन्सिक लॅब भेजो और मुझे रिपोर्ट्स के बाद ही कॉल करना राज वहाँ से जाने लगा

हवलदार – पर सर आप कहाँ जा रहे है मैं तो आपके घर गया था वहाँ आप नही थे राज ने पीछे मुड़कर हवलदार को देखा और कहा मैं वो किसी काम से गया हुया था ज़्यादा सवाल मत पूछो काम पर ध्यान दो मैं बहुत थका हुआ हू हवलदार इससे पहले कुछ कह पाता वहाँ से राज जा चुका था

क्रमशः…………………………….

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